किसान आंदोलन नोएडा

Farmer Protest: किसानों ने एक बार फिर किया दिल्ली कूच, प्रशासन को दी सात दिन की मोहलत

Top देश प्रदेश

अपनी मांगें पूरी करने के लिए नोएडा, ग्रेटर नोएडा व यमुना प्राधिकरण से आंदोलन कर रहे किसानों ने सोमवार को महामाया फ्लाईओवर के पास एकत्र होकर दिल्ली कूच किया। किसान संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले एकत्र हुए। किसान पुलिस के रस्से और बैरिकेडिंग को पार करते हुए सेक्टर-95 में सेक्टर-18 के लिए चढ़ने वाले रैंप के पास तक पहुंच गए। आगे जाने पर रोकने पर किसान सड़क पर बैठ गए। तकरीबन एक घंटा प्राधिकरण व पुलिस अधिकारियों के साथ किसानों की वार्ता हुई। 

किसान मांगे अभी मानी जाएं या उनको दिल्ली जाने दिया जाए की मांग पर अड़े रहे। वहीं पुलिस एवं प्रशासन किसानों को वापस घर भेजने की कोशिश में था। अंत में किसानों ने प्रशासन को 7 दिन का समय दिया। तब तक किसान दलित प्रेरणा स्थल के अंदर ही धरना देंगे।

इस बीच एक्सप्रेस-वे दोनों तरफ से बंद होने से ट्रैफिक शहर के अंदर के रास्तों पर डायवर्ट कर दिया गया। फिर एक्सप्रेस-वे पर नोएडा आने वाले वाहन कई किलोमीटर लंबी लाइन में नजर आए। शहर के अंदर के रास्तों पर वाहनों का दबाव दोनों तरफ से अचानक से बढ़ने पर व्यवस्था चरमरा गई।

दोपहर 12 बजे से ही एकत्र होने लगे थे किसान

गौरतलब हो कि संयुक्त किसान मोर्चा की तरफ से दिल्ली कूच के लिए दोपहर 12 बजे से किसान संगठनों को महामाया फ्लाईओवर के पास एकत्र होने के लिए कहा गया था। मोर्चे में शामिल 10 संगठनों के किसान यहां पर जुटे और नारेबाजी की और फिर दिल्ली कूच का फैसला लिया। इसके बाद अचानक किसान उठकर आगे बढ़े और बैरिकेडिंग गिराते हुए दलित प्रेरणा स्थल के सामने तक पहुंच गए। यहां पर पुलिस और प्राधिकरण के अधिकारी वार्ता के लिए पहुंचे।

प्रशासन को दी सात दिन की मोहलत

मोर्चे में शामिल भारतीय किसान परिषद के अध्यक्ष सुखबीर खलीफा ने बताया कि मांगे पूरी करवाने के लिए अधिकारी सात दिन में सचिव स्तर की वार्ता का प्रस्ताव लेकर शासन की तरफ से पहुंचे थे। वार्ता में किसानों ने अपना पक्ष स्पष्ट किया कि वार्ता होने और मांगे पूरी होने तक वह वापस नहीं लौटेंगे।

इसके बाद किसानों ने सड़क खाली कर दी और अंदर जाकर दलित प्रेरणा स्थल में बैठ गए हैं। सुखबीर खलीफा ने यह भी कहा कि मांगे पूरी न होने पर किसान फिर से दिल्ली कूच करेंगे। किसान नेता अतुल यादव ने कहा कि किसान अब दिन रात दलित प्रेरणा स्थल में डेरा डाले रहेंगे। 

क्या हैं किसानों की मांगे?

किसानों का केंद्र या राज्य सरकार से कोई गतिरोध नहीं है। इनकी मांगे नोएडा, ग्रेटर नोएडा व यमुना प्राधिकरण से जुड़ी हुई हैं। किसानो की प्रमुख मांगे तीनों प्राधिकरण के किसानों को 10 प्रतिशत प्लॉट, 2013 भूमि अधिग्रहण नियमावली प्रभावी करने और संपूर्ण आबादी निस्तारण की हैं। इसके अतिरिक्त अलग-अलग संगठनों की प्राधिकरण से मांगे गांव के विकास, मुआवजा न दिया जाना, अतिक्रमण के नाम पर बुल्डोजर चलाने पर रोक व अन्य हैं।

किसान आंदोलन के चलते साढ़े तीन घंटे बंद रहा एक्सप्रेसवे

जानकारी के अनुसार किसानों ने महामाया फ्लाईओवर के नीचे दोपहर 12 बजे से जुटना शुरू कर दिया था। भीड़ बढ़ने के साथ ही ग्रेटर नोएडा से नोएडा और दिल्ली आने वाले ट्रैफिक के लिए सिर्फ एक लेन बची। नारेबाजी के बीच किसान 12.40 बजे दिल्ली की तरफ बढ़े तो पूरी सड़क पर किसानों को देखते हुए फ्लाईओवर के पहले से एक्सप्रेस-वे का ट्रैफिक रोक दिया गया। ट्रैफिक सेक्टर-94 चरखा गोल चक्कर से मोड़कर दिल्ली की तरफ जाने वाले वाहनों को कालिंदीकुंज की तरफ डायवर्ट किया गया।

तीन किलोमीटर लंबी लगा वाहनों का जाम

किसान आंदोलन के चलते महामाया से डीएनडी, चिल्ला बॉर्डर व नोएडा व ग्रेटर नोएडा की तरफ से आने वाले वाहनों व कालिंदीकुंज से आने वाले वाहनों के लिए रास्ता बंद रहा। इस कारण से एक्सप्रेस-वे पर वाहनों का दबाव बढ़ा जिसके कारण करीब 3 किलोमीटर तक वाहनों की लंबी लाइन लगी रही।

शहर के अंदर भी बने रहे जाम जैसे हालात

शहर के अंदर जो ट्रैफिक मोड़ा गया उससे सेक्टर-38 से लेकर सेक्टर-1 न्यू अशोक नगर बॉर्डर तक जाम के हालात बन गए। उद्योग मार्ग से ग्रेटर नोएडा की तरफ जाने वाले वाहन मोड़े गए उनसे सेक्टर-15 से लेकर 38 तक जाम की स्थित बन गई। इसी तरह डीएनडी से लेकर पर्थला व अन्य रास्तों पर जाम की स्थिति रही। किसान करीब 4 बजकर 12 मिनट पर दलित प्रेरणा स्थल के सामने की सड़क खाली कर अंदर बैठने गए। फिर बैरिकेडिंग हटाने की शुरुआत हुई। इसके बाद करीब डेढ़ घंटे बाद ट्रैफिक सामान्य हो पाया। 

जाम में कई एंबुलेंस भी फंसीं

नोएडा-ग्रेनो एक्सप्रेस-वे बंद होने के कारण कई एंबुलेंस भी फंसी। पहले दो एंबुलेंस आने पर किसानों का दिल्ली कूच जब नहीं शुरू हुआ था तब महामाया फ्लाईओवर के पास से उनको रास्ता देकर निकाला गया। इसके बाद एक एंबुलेंस तब आ गई जब किसान दलित प्रेरणा स्थल के सामने बैरिकेडिंग के ऊपर चढ़ गए थे। यहां की बैरिकेडिंग में क्रेन व गाड़ियां भी शामिल थीं जिनको हटाना संभव नहीं था। इसलिए एंबुलेंस मुड़वाकर दूसरे रास्ते से निकाली गई।

चेकिंग के कारण सभी बॉर्डर पर लग गई वाहनों की लाइनें

किसान आंदोलन को देखते हुए दिल्ली पुलिस पहले से ही सतर्क थी। सोमवार सुबह करीब 9 बजे से दिल्ली पुलिस ने चिल्ला, डीएनडी, न्यू अशोक नगर बॉर्डर पर बैरिकेडिंग लगा दी थी। इसके साथ ही दिल्ली पुलिस ने वाहनों की चेकिंग शुरू कर दी। इससे व्यस्त समय में दिल्ली जाने वाला ट्रैफिक फंस गया। डीएनडी, सेक्टर-1 ए लिंक रोड पर वाहनों की लंबी लाइन लग गई।

 यह भी पढ़ें: Vice President: स्वतंत्रता के बाद की कहानियों में हुआ हेरफेर, धनखड़ बोले- केवल चुनिंदा लोगों को दिया गया श्रेय

Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *