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जज्बे को सलाम: तीन साल से बिस्तर पर पड़ी फौजी की पत्नी ने किया मतदान

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बरेली। लोकतंत्र के सबसे बड़े पर्व को सफल बनाने के लिए सरकार नियमत रूप से जागरूकता फैला रही है। वहीं देश के प्रति अपनी जिम्मेदारी को पूरा करने के लिए कुछ लोग हमेशा ही तैयार रहते हैं। ऐसा ही एक मामला बरेली लोकसभा सीट पर भी देखने को मिला। जहां तीन साल से बिस्तर पर पड़ी महिला ने दुर्ग दृष्टि व समाजसेवियों के सहयोग से अपना मतदान किया।

बरेली के इज्जतनगर थाना क्षेत्र अंतर्गत एयर फोर्स स्टेशन के पास 95 वर्ष की कला देवी नाम की एक दिव्यांग महिला पिछले तीन सालों से बिस्तर पर थी। महिला के परिवार में उनके अतिरिक्त कोई भी सदस्य नहीं है। लोकतंत्र के इस पर्व में वह भी अपनी भागेदारी निभाना चाहती थी।

वोट डालने के लिए पिछले कई दिनों से वह प्रयास कर रही थी। लेकिन कहीं से उन्हें सफलता नहीं मिली। जब इस बात की जानकारी दुर्ग दृष्टि टाइम्स के संपादक को मिली तो उन्होंने तत्काल शिवसेना के जिला प्रमुख दीपक पाठक से संपर्क किया। जानकारी मिलते ही वह तुरंत ही अपने साथियों के साथ महिला के निवास स्थान पर पहुंचे और दिव्यांग महिला को गोद में उठाकर वोट दिलवाने ले गए।

फौजी की पत्नी हूं, मेरे लिए देश सर्वोपरि

वोट डालने के बाद कला देवी ने बताया कि वह पिछले तीन सालों से बिस्तर पर है। घर में किसी भी सदस्य के न होने के कारण वह काफी समय से वोट डालने के लिए लोगों से अनुरोध कर रही थी। जब इस बात की जानकारी दुर्ग दृष्टि के संपादक को मिली तो उन्होंने शिव सेना के दीपक पाठक को इस बात की जानकारी दी तो वह अपने सहयोगियों के साथ उनके घर पहुंचे और उन्हें गोद में लेकर मतदान केन्द्र तक लेकर गए।

कला देवी ने बताया कि वह एक फौजी की पत्नी है। उनके लिए देश पहले है। तीन सालों से वह घर से बाहर तक नहीं गई है। लेकिन वोट डालने के लिए वह कई दिनों से लोगों से अनुरोध कर रही थी। उन्होंने बताया कि पिछले चुनाव में भी वह वोट डालने के लिए लोगों से संपर्क कर रही थी लेकिन किसी ने उनका साथ नहीं दिया। इस लिए वह वोट नहीं डाल पाई थी।

गोद में उठाकर मतदान स्थल पहुंचे शिव सेना के जिला प्रमुख

शिव सेना के जिला प्रमुख दीपक पाठक ने कहा कि शिव सेना हमेशा से दुखी व असहायों की सहायता के लिए हमेशा तैयार रही है। दुर्ग दृष्टि के संपादक से जानकारी मिलते ही वह अपने साथियों के साथ महिला के निवास पर पहुंच गए।

उन्होंने बताया कि महिला के निवास स्थान तक मोटर साईकिल के अतिरिक्त किसी भी प्रकार का वाहन नहीं आ सकता था। इसके अतिरिक्त वोटिंग समाप्त होने का समय कम बचा था, इस लिए महिला को गोद में उठाकर वोटिंग स्थल लेकर पहुंचे।

कला देवी के जोश को सलाम

दुर्ग दृष्टि का पूरा परिवार ऐसे लोगों को सलाम करता है जो देश को सबसे ऊपर रखते हैं। कला देवी ने पूरे देश के सामने एक मिसाल कायम की है। 95 वर्ष की कला देवी जो पिछले तीन वर्ष से बिस्तर पर ही है।

लोकतंत्र के पर्व को मनाने के लिए और देश के प्रति अपनी जिम्मेदारी को पूरा करने के लिए भीषण गर्मी में भी वोट डालने गई। सहीं शब्दों में कला देवी एक फौजी की विधवा है। उनके लिए देश सर्वोपरी है। दुर्ग दृष्टि कला देवी जैसे सभी लोगों को सलाम करता है जिनके लिए देश पहले स्थान पर है।

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